मोदी जी ने कर दिया पाकिस्तान तालिबान दोनों का पक्का इलाज़


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Afghanistan seeks stronger trade relations with India

India confident Kabul won’t fall to Taliban, is moving on ‘multiple tracks’ on Afghanistan

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References -

https://www.livemint.com/news/india/ghani-govt-unlikely-to-fold-under-taliban-pressure-11627312425523.html

https://theprint.in/diplomacy/india-confident-kabul-wont-fall-to-taliban-is-moving-on-multiple-tracks-on-afghanistan/703604/

https://www.newindianexpress.com/states/andhra-pradesh/2021/jul/27/afghanistan-seeks-stronger-trade-relations-with-india-2335968.html

https://theprint.in/world/essence-of-talibans-longevity-is-very-secure-sanctuary-they-had-in-pakistan-ahmed-rashid/703021/ 

जैसा की हम सभी को जानकारी है, की अफ़ग़ानिस्तान में उथल पुथल चल रही है. और इस दौरान लगातार दुनिया भर की मीडिया तालिबान के सपोर्ट में चीयर लीडर की भूमिका में नजर आ रही है.


जबकि बड़े बड़े एक्सपर्ट लोगों ने अंधकारमय भविस्य वाणियां की हुई है, की बिना अमेरिकन ऑक्सीजन सपोर्ट के अफ़ग़ान सर्कार कितने दिनों तक साँस ले पायेगी. उदहारण के लिए कहा गया, की अफ़ग़ान सर्कार तीन महीनो में दम तोड़ देगी.


लेकिन यदि हम इतिहास में पीछे जाएँ, तो जब सोवियत अफ़ग़ानिस्तान की कम्युनिस्ट सर्कार को बीच मझधार में छोड़कर भाग रहे थे, तब अमेरिकन संस्था CIA ने अनुमान लगाया था, की कम्युनिस्ट अफ़ग़ान सर्कार छह महीनो के भीतर भीतर जमीदोज हो जाएगी. लेकिन इतिहास गवाह है, कम्युनिस्ट सर्कार जैसे तैसे करके तीन सालों तक टिकी रहने में कामयाब हुई.


वह भी तब जबकि सोवियत यूनियन टूटने जा रहा था, आज अमेरिका के टूटने की तो कोई बात ही नहीं है, उल्टा अमेरिका अफ़ग़ान सर्कार को एयर सपोर्ट बराबर दे रहा है.  यहाँ तक की अमेरिका ने 3.3 बिलियन डॉलर का  आर्थिक सपोर्ट देने की बात भी की है. 


कुल मिलाकर अमेरिका ने अभी भी अफ़ग़ानिस्तान सर्कार को लावारिश नहीं छोड़ा है, और उसकी बातों के पीछे हवाई हथियारों और पैसे की तागत है.


इसलिए अफ़ग़ानिस्तान के सर जमीं पर कब्ज़ा होने के पहले अख़बारों में उसका ऐलान करके पाकिस्तान के प्यादे तालिबान ने थोड़ी सी जल्दवाजी कर दी. ऐसा जान पड़ता है.


इस बैकग्राउंड में आप स्वयं देखिये, जबकि अफ़ग़ानिस्तान के सर पर गृह युद्ध के बादल मंडरा रहे हैं, तब अफ़ग़ानिस्तान ने हैदराबाद में अपना नया मिशन office खोला है. और इस कार्यक्रम में अफ़ग़ानिस्तान के बरिष्ठ अधिकारी ने साफ़ साफ़ कहा, की अफ़ग़ानिस्तान इंडियन प्राइवेट सेक्टर को निवेश के लिए आमंत्रित करता है.


साथ ही अफ़ग़ानिस्तान को भी भारत और खाश तौर पर आंध्र प्रदेश में उपस्थित अवसरों के बारे में अवगत कराया गया.


अफ़ग़ानिस्तान की उम्मीद के अनुसार भारत से कितना निवेश एग्रीकल्चर मैन्युफैक्चरिंग इम्पोर्ट एक्सपोर्ट की फील्ड में होगा, यह तो कहना मुश्किल है, क्योकि यह आम अनुभव की बात है,  शांति की स्थापना होने के बाद ही व्यापार की बातचीत हो सकती है.


इसलिए भारत के साथ और भी अधिक मजबूत व्यापारिक सम्बन्धो की स्थापना की अफ़ग़ान पहल का हम अभी केवल स्वागत कर सकते हैं, जमीं पर अमल करने के लिए शांति और स्थायित्वा के मजबूत संकेत के आने का इंतजार करना ही बेहतर होगा.



लेकिन जरा कल्पना कीजिए, यदि अफ़ग़ान सर्कार के पाँव कब्र में लटके होते, तो क्या वह आंध्र प्रदेश में अपना नया ऑफिस खोल रहे होते?? कैंसिल ना करते, तो कम से कम इस कार्यक्रम को पोस्टपोन तो कर ही सकते थे. 


इसलिए महज इस कार्यक्रम के समय पर होने को हम शुभ संकेत समझते हैं.


वीडियो ख़तम करने के पहले आप सभी के साथ साझा करते हुए हमें खुसी हो रही है, की 1 जुलाई को जब जेनसार टेक 320 के नीचे उड़ान के लिए तैयार हो रहा था, तब हमने उसकी चर्चा की थी अपने टेलीग्राम चैनल ETF नॉलेज शो पर.


और आज अभी जुलाई महीने के 31 दिन भी पुरे नहीं हुए है, और जेनसार टेक ने 422 तक का हाई मार दिया है.  26-27 दिनों में इस प्रकार 100 पॉइंट 30 % से भी अधिक का प्रॉफिट जेनसार टेक ने बना दिया है.


और इस पूरी 100 पॉइंट की यात्रा को हमने बराबर अपने टेलीग्राम चैनल पर मार्किट हॉर्स के दौरान कवर किया है, इसलिए यदि आपको भी ऐसे ही किसी प्रॉफिटेबल आईडिया की तलाश है, तो आप हमारे फ्री टेलीग्राम चैनल ETF नॉलेज शो को जरूर जोईन कर लीजिये.

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